बोहड़ाकला पशु चिकित्सालय में मदिरापान करते रंगे हाथ पकड़ा

पशुपालन विभाग का कर्मचारी ही नहीं मलिक बाहरी युवा भी काबू

सरकारी पशु चिकित्सालय में दर्जनों खाली-भरी बीयर की बोतलें

मदिरापान मामले ने पकड़ा तूल और चंडीगढ़ तक पहुंचा मामला

फतह सिंह उजाला
पटौदी ।
 खूब बवाल ही नहीं हुआ, बलिक मौके पर रंगे हाथ पकड़े जाने के बाद लोगों ने धुनाई भी कर डाली । यह मामला पटौदी इलाके के सबसे बड़े गांव बोहड़ाकला के सरकारी पशु चिकित्सालय का है। कथित रूप से ऑन ड्यूटी पशुपालन एवं डेयरी विभाग के स्थानीय सेंटर में कार्यरत कर्मचारी के साथ-साथ अन्य दो बाहरी युवकों को भी मदिरापान करते हुए रंगे हाथ पकड़ा जाने के बाद गुस्साए लोगों ने अपने अपने हाथ भी सेंक डालें। मामला कथित रूप से उस समय और अधिक पेचीदा हो गया जब परिसर में एक महिला को भी देखा गया । इसके बाद लोगों का गुस्सा और भी अधिक भड़क गया, घटना की तुरंत गांव के सरपंच को सूचना दी गई । सरपंच अन्य मौजूद आदमियों के साथ में अस्पताल परिसर में पहुंचे और कथित रूप से पुलिस को भी घटनाक्रम के बारे में सूचित किया गया। हालांकि इस मामले में बिलासपुर थाना प्रभारी का कहना है कि थाने में किसी भी प्रकार की लिखित शिकायत नहीं मिली है। यदि कोई शिकायत लिखित में आएगी तो कानून के मुताबिक कार्यवाही भी की जाएगी ।
सूत्रों एवं अन्य जानकारी के मुताबिक मामला मंगलवार देर सायं का बताया गया है। बोहड़ाकला के पशु चिकित्सालय में कार्यरत कर्मचारी और उसके गांव के ही दो युवक मौजूद थे । अस्पताल के सामने खड़े रहने वाले वाहन चालकों को कुछ शक सुबा हुआ तो भेद खुला अस्पताल परिसर में मदिरापान किया जा रहा है । इसके बाद लोगों का गुस्सा भड़क गया, कथित रूप से लोगों के वहां जमा होने के दौरान एक महिला को भी देखा गया । महिला को देखा जाने के साथ ही लोगों का गुस्सा किसी अन्य आशंका को लेकर और अधिक भड़क गया । जानकारी के मुताबिक गुस्साए लोगों ने मदिरापान करने वालों की अच्छी खासी धुनाई कर डाली । साथ ही पुलिस को भी मौके पर बुला लिया गया । लेकिन कथित रूप से इस मामले को गांव की बदनामी से जोड़ कर देखते हुए सामाजिक तौर पर सुलझा दिए जाने की जानकारी सामने आ रही है ।
इस मामले में गांव के ही सरपंच यादवेंद्र शर्मा के मुताबिक इस बात की जानकारी मिली थी कि पशु अस्पताल परिसर में कुछ लोग नशा इत्यादि कर रहे हैं । वह स्वयं अन्य मौजिज लोगों को लेकर मौके पर पहुंचे तो बात को सही पाया गया । लेकिन इसी दौरान और भी लोग पहुंच गए और जैसे ही वहां पर बीयर इत्यादि की बोतलें वह अन्य खानपान का सामान देखा तो भीड़ गुस्से से बेकाबू हो गई । इसके साथ ही गुस्साए लोगों ने अस्पताल परिसर में मदिरापान करने वालों को पर हाथ साफ कर डालें । जैसे तैसे भीड़ को शांत किया गया। अति विश्वसनीय सूत्रों के मुताबिक मामला उसने तूल पकड़ गया और भीड़ का गुस्सा भड़क गया , जब कथित रूप से अस्पताल परिसर में एक महिला को देखा गया । वहीं यह भी जानकारी प्राप्त हुई है कि इस पूरे घटनाक्रम की जानकारी-सूचना सरकार के संबंधित विभागों के मंत्रियों और आला अधिकारियों के संज्ञान में लाई जा चुकी है । स्थानीय लोगों के मुताबिक पशु अस्पताल परिसर में कथित रूप से संदिग्ध गतिविधियों को पहले भी पकड़ा जा चुका है । लेकिन बार-बार समझाने के बाद भी यहां सुधार दिखाई नहीं दिया । मंगलवार को भी फिर से ऐसा घटनाक्रम हुआ कि लोगों ने मदिरापान करने वालों को रंगे हाथों काबू कर लिया।  इस घटनाक्रम की जानकारी पटौदी के विधायक सत्यप्रकाश जरावता के संज्ञान में भी लाई जा चुकी है। विधायक जरावता का कहना है कि वह स्तर पर जांच करवा कर यथासंभव कार्यवाही की सिफारिश करेंगे ।

इधर पटौदी के एसीपी बीर सिंह का भी कहना है कि उनके संज्ञान में ऐसा कोई भी मामला, शिकायत अथवा घटनाक्रम नहीं आया है। यदि पुलिस के पास किसी भी प्रकार की लिखित में शिकायत आएगी तो कानून के मुताबिक संबंधित थाना क्षेत्र के द्वारा अवश्य कार्रवाई की जाएगी। वहीं सरपंच यादवेंद्र गोगली के मुताबिक गांव के ही सामाजिक कार्यकर्ता महेश सैनी के द्वारा इस पूरे घटनाक्रम के बारे में पशुपालन एवं डेयरी विभाग के डिप्टी डायरेक्टर को शिकायत देकर बोहड़ाकला पशु चिकित्सालय में कार्यरत वीएलडीए के तबादले की मांग की है । बहरहाल इस पूरे मामले को सामाजिक रुप से सूलझाने की बात सहित दावा किया जा रहा है । वही ऐसी भी चर्चाएं हो रही है कि कथित रूप से स्वयं को दोषी मानते हुए पशुपालन एवं डेयरी विभाग के स्थानीय अस्पताल में कार्यरत कर्मचारी के द्वारा धर्मार्थ हित में आर्थिक सहयोग दिया जाने के बाद अपनी गलती मानते हुए मामले को यहीं पर ही समाप्त करने की बात कही गई । लेकिन इस पूरे प्रकरण को लेकर विभिन्न प्रकार की चर्चाओं का बाजार गर्म है । सवाल फिर वही घूम फिर के आ जाता है कि जब सरकारी पशु चिकित्सालय परिसर में मदिरापान करते हुए काबू किया गया और वहां पर बीयर व अन्य बोतले खाली और भरी हुई मौके पर पाई गई । तो कम से कम कानून के मुताबिक कार्रवाई तो अवश्य करवाई जानी चाहिए थी ।

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