धमाके के बाद दिखा तबाही का मंज़र, हर तरफ़ शीशे, इमारतों का मलबा व लाशें बिखरी हुई हैं।

मनीषबलवान सिंह जांगड़ा, हिसार
लेबनान की राजधानी बेरूत में हुए धमाके से अब तक 113 लोगों की मौत चुकी व हज़ारों लोग घायल हैं। अधिकारियों ने बताया कि बेरूत के तटीय इलाके में मौजूद एक गोदाम में पिछले छह साल से 2750 टन रखे अमोनियम नाइट्रेट में धमाके से भयावह मंज़र बना हुआ है। हर तरफ़ इमारतों का मलबा व लाशें नज़र बिखरी हुई हैं। विस्फ़ोट के बाद राष्ट्रपति माइकल इयोन ने कैबिनेट की आपातकाल बैठक बुलाई जिसमे दो हफ़्ते की इमरजेंसी की घोषणा की गई है। प्रधानमंत्री हसन दिआब ने कहा कि दोषियों को बख्शा नही जाएगा। सोशल मीडिया पर धमाके की वीडियो वायरल हो गयी है जिसमे इमारतें ख़ाक होती दिख रही है और धुंए का गुबार व धमाके की तरंग दूर तक महसूस की गई। धमाके की आवाज भूमध्यसागर में 240 किलोमीटर दूर साइप्रस तक सुनाई दी। 

अंतरराष्ट्रीय समुदाय ने भी लेबनान में हुए धमाके से हुई त्रासदी से उभरने में मदद की पेशकश की है। अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प ने इसे "भयावह घटना" कहा है। पड़ोसी देश क़तर ने मानवीय संकट में मदद भेजी है। लेबनान के दक्षिण में मौजूद इजरायल ने घटना के पीछे जिम्मेदार न होने की बात कही है व लेबनानी सरकार को हर संभव मदद की पेशकश की है।

आर्थिक संकट से गुजर रहे लेबनान के लिए ये धमाका मुसीबतों को और बढ़ाने वाला है। पहले से ही बेरोजगारी, महंगाई, हाई टैक्स व भ्रष्टाचार से गुस्साए युवा देश की सड़कों पर सरकार के विरुद्ध प्रदर्शन कर रहे हैं। धमाके से ठीक एक घण्टा पहले सरकार विरोधी प्रदर्शनकारियों व सुरक्षाबलों में हाथापाई की ख़बर आई थी। 

क्या होता है अमोनियम नाइट्रेट।

अमोनियम नाइट्रेट एक गंधहीन केमिकल प्रदार्थ होता है जोकि क्रिस्टल की तरह सफ़ेद सॉलिड आकृति में होता है। इसका इस्तेमाल खेती के लिए उर्वरक व निर्माण या खनन में किया जाता है।

अमोनियम नाइट्रेट ज़मीन में नही मिलता इसे कृत्रिम तरीके से बनाया जाता है। अमोनिया की नाइट्रिक एसिड से क्रिया करवाके इसे लैबोरेटरी में बनाया जाता है। चूकिं अमोनियम नाइट्रेट पूरी दुनिया में बनाया जाता है तो इसे आसानी से ख़रीदा जा सकता है।

स्टोर करने के लिए हैं कड़े नियम।

ये अत्यंत विस्फोटक केमिकल होता है क्योंकि इसमे आग लगने पर धमाका होता है जिसके बाद खतरनाक गैस निकलती है जिसमें नाइट्रोजन ऑक्साइड व अमोनिया गैस होती है। चुंकि ये बहुत ही विस्फोटक होती है इसलिए इसके  रख रखाव के लिए कड़े नियमों का पालन करना पड़ता है। 

अमोनियम नाइट्रेट को रखना वैसे तो अमूमन सुरक्षित होता है लेकिन ज़्यादा मात्रा में व लम्बे समय से एक ही जगह पर स्टोर करने पर नमी के संपर्क में यह सख़्त हो जाता है। सख़्त अमोनियम नाइट्रेट में आग लगने पर धमाके की तीव्रता बहुत अधिक बढ़ जाती है। इसलिए इसके रख रखाव को लेकर कुछ नियम बनाये गए हैं जैसे कि वो स्टोर पूरी तरह से फ़ायरप्रूफ़ होना चाहिए। साथ ही वहाँ कोई भी नाला, पाइप या गटर नहीं होना चाहिए जिसमें अमोनियम नाइट्रेट जमा हो सके।

बम बनाने के लिए भी किया जाता है इस्तेमाल।

अमोनियम नाइट्रेट का इस्तेमाल कई देशों की सेना पहाड़ों को तोड़ने व बम बनाने में करती है। इसका इस्तेमाल कई आतंकवादी हमलों में भी किया गया है 15 अप्रेल 1995 में अमेरिका के ओक्लाहोमा में 2 टन अमोनियम नाइट्रेट से विस्फ़ोट किया गया था जिसमे 168 लोगों की मौत व सैंकड़ों घायल हुए थे। 

इस केमिकल से पहले भी कुछ दुर्घटनाएं हो चुकी हैं जिसमे 2013 में अमरीका के टेक्सस राज्य में एक फ़र्टिलाइज़र प्लांट में धमाका हुआ था जिसमें 15 लोगों की मौत हुई थी।  2001 में फ़्रांस के टुलूज़ में भी ए क केमिकल प्लांट में धमाका हुआ था जिसमें 31 लोग मारे गए थे।


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